न्यूज डेस्क। इंडियन क्रिकेटर मोहम्मद शमी की अलग हो चुकी पत्नी ने कोर्ट के जरिए अपने और अपने बच्चे के पोषण के लिए मांग की थी। इस पर फैसला सुनाते हुए कोलकाता हाईकोर्ट ने शमी को उनकी पूर्व पत्नी को 4 लाख रुपया महीना दिए जाने का आदेश दिया है।
हाल ही में एएनआई को दिए इंटरव्यू में क्रिकेटर मोहम्मद शमी की अलग हो चुकी पत्नी हसीन जहां कहती हैं, ‘शादी से पहले मैं मॉडलिंग और एक्टिंग करती थी। शमी ने मुझे मेरा पेशा छोड़ने के लिए मजबूर किया। वह चाहते थे कि मैं सिर्फ गृहिणी की जिंदगी जिऊं। मैं शमी से इतना प्यार करती थी कि मैंने खुशी-खुशी यह स्वीकार कर लिया… लेकिन अब मेरे पास खुद की कमाई नहीं है। हमारे भरण-पोषण की सारी जिम्मेदारी शमी को उठानी होगी। इसलिए जब उन्होंने इनकार किया तो हमें कोर्ट का दरवाजा खटखटाना पड़ा। भगवान का शुक्र है कि हमारे देश में ऐसा कानून है जो लोगों को अपनी जिम्मेदारियां उठाने का आदेश देता है… अगर आप किसी के साथ रिलेशनशिप में हैं तो उसके चेहरे पर यह नहीं लिखा होता कि उसका चरित्र खराब है, वह अपराधी है या आपके और आपकी बेटी के भविष्य के साथ खिलवाड़ करेगा… मैं भी ऐसी ही शिकार हुई… भगवान ने बड़े से बड़े अपराधियों को माफ कर दिया है। वह अपनी बेटी की सुरक्षा, भविष्य और खुशी नहीं देख सकता। उसे हसीर जहां की जिंदगी बर्बाद करने की जिद भी छोड़ देनी चाहिए। वह मुझे बर्बाद नहीं कर सकता क्योंकि मैं न्याय के रास्ते पर हूं जबकि वह अन्याय के रास्ते पर है।’
60 लाख प्रति माह शमी की कमाई
गौरतलब है कि दोनों का तलाक अभी नहीं हुआ है। यह मामला 2022 से लंबित है। भरण पोषण के लिए 2018 में हसीन ने शमी से 10 लाख महीना भत्ता की मांग यह कहकर की थी की शमी की कमाई 60 लाख रुपया महीना है और उनका खर्च प्रति माह 6 लाख रुपए से अधिक है। इससे पहले अलीपुर कोर्ट ने हसीन को 50 हजार और बेटी को 80 हजार प्रति माह देने का फैसला सुनाया था। जिसे चुनौती देते हुए हसीन ने कोलकाता हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया और कोलकाता हाईकोर्ट ने उसे 4 लाख रुपए प्रतिमाह भत्ता देने की घोषणा दी।
