न्यूज डेस्क। बिहार के मधेपुरा के बाबा नगरी सिंघेश्वर में पंडित प्रदीप मिश्रा ने पहलगाम हमले को लेकर अपनी राय दी है, लेकिन यह राय मधेपुरा के कांग्रेस नेताओं को रास नहीं आई। नेताओं ने पंडित मिश्रा का पुतला दहन कर उनके बयान को विवादास्पद बताया है।
गौरतलब है कि गुरुवार की कथा के दौरान पंडित मिश्रा ने देश में गृहमंत्री अमित शाह को कलयुग का शिव कहा। उन्होंने कहा कि अब तांडव होगा, पहलगांव में हुए हमले का बदला अमित शाह लेंगे। शाह शांत भी रहते हैं, मौन भी रहते हैं और तांडव भी दिखा देते हैं।
शास्त्र हो न हो शस्त्र जरूरी
उन्होंने मंच से अपील करते हुए कहा कि सनातनियों जाग जाओ। तुम्हारे घर में शास्त्र है या नहीं हैं, हमें उससे मतलब नहीं है, लेकिन अब तुम्हारे घर के बेटा और बेटी को शस्त्र चलाने आने चाहिए। उन्होंने विपक्ष के 200 हिंदू सांसदों को कलंक बताया है। उन्होंने कहा कि पहलगाम की घटना झकझोर देने वाली है, जहां धर्म पूछकर गोली मार दी गई।
विपक्षी सांसद कलंक
उन्होंने कहा कि पहलगाम की घटना पर कहा कि क्या करोगे क्या? कैंडल मार्च निकालोगे, पुतले जलाओगे, नारा लगाओगे। फिर कुछ दिनों के बाद शांत होकर बैठ जाओगे। इसलिए शस्त्र रखना और चलाना सीखो, क्योंकि सनातन धर्म का कोई भी देवता बिना शस्त्र के नहीं है। इसलिए घर भी बिना शस्त्र का नहीं होना चाहिए। उन्होंने बंगाल का भी जिक्र किया और कहा कि बंगाल में हिंसा हो रही हैं, मगर विपक्ष के 200 हिन्दू सांसद चुप है। ये हिंदू के नाम पर कलंक हैं।
एनएसयूआई ने किया विरोध
एनएसयूआई कार्यकर्ताओं ने पंडित मिश्रा के बयानों का विरोध किया और उनका पुतला दहन किया।एनएसयूआई के प्रदेश उपाध्यक्ष निशांत यादव ने कहा कि प्रदीप मिश्रा कोई कथा वाचक नहीं, बल्कि यह आरएसएस और भाजपा का एजेंट है, यह सत्संग नहीं, बल्कि सांप्रदायिक सौहार्द बिगड़ने का काम कर रहे हैं। गृहमंत्री अमित शाह को भोलेनाथ का अवतार बताकर वह शिव भक्तों की भावना को आहत कर रहे हैं।
