भिलाई। महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा छत्तीसगढ़ में बाल विवाह उन्मूलन की दिशा में विशेष प्रयास किए जा रहे हैं। इसी कड़ी में बालोद जिले की सभी 436 ग्राम पंचायतें और 09 नगरीय निकाय बाल विवाह मुक्त घोषित किए जाने की प्रक्रिया में शामिल किए गए हैं।
बालोद जिला के कार्यक्रम अधिकारी, महिला एवं बाल विकास विभाग ने जानकारी दी कि विगत दो वर्षों में जिले के किसी भी ग्राम पंचायत एवं नगरीय निकाय से बाल विवाह का कोई प्रकरण प्राप्त नहीं हुआ है। विभागीय अधिकारियों ने बताया कि इस संबंध में 7 दिन के अंदर दावा आपत्ति भी मंगाया गया है। दावा/आपत्ति जिला कार्यक्रम अधिकारी, महिला एवं बाल विकास विभाग, संयुक्त जिला कार्यालय कलेक्टोरेट (कक्ष क्रमांक 79), बालोद में सुबह 10 से शाम 5:30 बजे तक लिखित में तथा सुसंगत दस्तावेजों के साथ जमा की जा सकती है।
2024 में हुआ था शुभारंभ
बता दें कि मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय द्वारा 10 मार्च 2024 को बाल विवाह मुक्त छत्तीसगढ़ अभियान का शुभारंभ किया गया था। जिसका संचालन महिला एवं बाल विकास मंत्री लक्ष्मी राजवाड़े के मार्ग दर्शन में विभाग द्वारा यूनिसेफ के सहयोग से किया जा रहा है। राज्य सरकार ने बाल विवाह जैसी कुप्रथा के उन्मूलन को अपनी सर्वाेच्च प्राथमिकताओं में शामिल किया है। महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा लगातार जनजागरूकता, निगरानी और सामाजिक सहभागिता के माध्यम से बाल विवाह रोकथाम की दिशा में प्रभावी कार्य किए जा रहे हैं। बालोद जिले की तरह छत्तीसगढ़ के अन्य जिलों में भी बाल विवाह मुक्त पंचायत और नगरीय निकाय घोषित करने की प्रक्रिया शुरू की जा चुकी है। जिन जिलों में विगत दो वर्षों के दौरान बाल विवाह का कोई मामला दर्ज नहीं हुआ है, वहां भी पंचायतों और नगरीय निकायों को बाल विवाह मुक्त प्रमाण पत्र प्रदान करने की तैयारी की जा रही है।
